वर्तमान समय में ”रियल लाइफ बनाम रील लाइफ(Real Life vs Reel Life)” काफी चर्चित विषय बन गया है। यदि हम दोनों स्थितियों के बारे में बात करते हैं, तो “वास्तविक जीवन(Real Life)” दुनिया में हर रोज होने वाली वास्तविक घटनाओं और अनुभवों को संदर्भित करता है, जबकि “रील लाइफ (Reel Life)” फिल्मों, वेब सीरीज, टीवी शो और अन्य सोशल मीडिया में घटनाओं और अनुभवों के विवरण को संदर्भित करता है।
रियल लाइफ- Real Life vs Reel Life
”रियल लाइफ(वास्तविक जीवन)” का अर्थ एक ऐसे जीवन से है जिसमें हम अपनी वास्तविकता, जैसे वास्तविक भावनाओं और जीवन की वास्तविक चुनौतियों के साथ जीते हैं। जैसे उम्र के अनुसार यह समझना कि जीवन में सुख-दुख का आना जाना लगा रहता है, आज जवानी है तो एक दिन बुढ़ापा आना ही है तथा एक दिन मनुष्य की मृत्यु होना तय है | यदि वास्तविक जीवन में कुछ होता है तो इसका मतलब है कि यह वास्तव में होता है और यह केवल कहानी या किसी की कल्पना नहीं है।
रील लाइफ- Real Life vs Reel Life
”रील लाइफ” को वर्चुअल रियलिटी की दुनिया भी कहा जाता है जहाँ सब कुछ परफेक्ट होता है, लोग बहुत खुश होते हैं, उन्हें अपनी जिंदगी में वो सब कुछ मिलता है जो वो चाहते हैं।
वहीं दूसरी तरफ रील वर्ल्ड में कुछ लोग ऐसे भी हैं जिनके पास रियल लाइफ में सब कुछ है, जैसे अच्छा परिवार,अच्छा घर और बेहतर जीवन जीने के लिए पर्याप्त पैसा लेकिन फिर भी वे अपना जीवन ऐसे दिखाते हैं जैसे उनके जीवन में बहुत सारी समस्याएं हैं और वे बहुत ज्यादा मानसिक तनाव से गुजर रहे हैं, और यह सब वो केवल अन्य लोगों से सहानुभूति प्राप्त करने के लिए करते हैं ताकि लोग उन्हें सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर लाइक और फॉलो करे दूसरे शब्दों में हम कह सकते हैं कि रील लाइफ एक पूरा दिखावा है।
हालांकि, रियल लाइफ और रील लाइफ सुनने में एक जैसी लगती है लेकिन दोनों एक दूसरे के बिल्कुल विपरीत हैं।
– रील लाइफ परफेक्शन पर आधारित होती है लेकिन रियल लाइफ में कोई भी परफेक्ट नहीं होता।
– रील लाइफ में लोग दिखाते हैं कि वे किसी भी स्थिति को संभालने के लिए काफी मजबूत हैं लेकिन वास्तविक जीवन में यह आसान नहीं है। वो कई बार समस्याओं से निपटते समय मानसिक, भावनात्मक और शारीरिक रूप से अंदर से बहुत परेशान रहते हैं।
– रील लाइफ हमेशा युवाओं को आकर्षित करती है क्योंकि यह बॉलीवुड फिल्मों, टीवी शो और वेब सीरीज पर आधारित होती है जिनका हमेशा लगभग सुखद अंत होता है लेकिन वास्तव में फिल्में कल्पना पर आधारित होती हैं और वास्तविक जीवन में हमेशा सुखद अंत नहीं होता है।
– रील लाइफ में लोग जीवन की कठिन परिस्थितियों के बारे में ज्यादा बात नहीं करते हैं लेकिन असल जिंदगी में हर बार हमें अच्छी और बुरी दोनों तरह की अलग-अलग परिस्थितियों का सामना करना पड़ता है।
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रील लाइफ के प्रभाव-
आजकल वर्चुअल लाइफ ने लोगों को इस कदर जकड़ लिया है कि लोग डिप्रेशन और मानसिक दबाव का शिकार हो रहे हैं | वे अपनी परिस्थितियों को किसी के सामने रखने से डरते हैं क्योंकि वो वास्तविकता का सामना नहीं करना चाहते और परिणामस्वरूप आत्महत्या जैसे कदम उठा लेते हैं, जैसा कि हाल ही में एक अभिनेत्री (तनीषा )ने बहुत कम उम्र में अवसाद के कारण आत्महत्या कर ली और कई बच्चे ऐसे हैं जो ”पबजी (PUBG), फ्री फायर ”आदि गेम खेलकर भी काफी आक्रामक होते जा रहे हैं।(Real Life vs Reel Life)
वैसे तो वर्चुअल लाइफ में कई खामियां हैं, लेकिन इसके कुछ फायदे भी हैं जैसे रील लाइफ में आप बिना किसी को अपनी असल पहचान बताए निःसंकोच किसी के साथ अपना दुख साझा कर सकते हैं, लोग सोशल मीडिया से बहुत सारे विशेष कौशल सीख सकते हैं, कुछ फिल्में और वेब सीरीज ऐसे भी हैं जो वास्तविक जीवन की घटनाओं पर आधारित, जिससे हम उनके जीवन से प्रेरणा प्राप्त कर अपने जीवन को अधिक आकर्षक और सफल बना सकते हैं
निष्कर्ष-
निष्कर्षतः हम कह सकते हैं कि रील लाइफ(आभासी दुनिया) केवल मनोरंजन के लिए बनाई गई थी, लेकिन अब लोग इसमें जीने लगे हैं, जो लोगों के अंदर से भावनाओं और मासूमियत को खत्म कर रही है। इसलिए यह जरूरी है कि लोग वास्तविक जीवन और परदे के जीवन में अंतर करना सीख जाए और उनके बीच संतुलन बनाएं, ताकि वे एक सुखद और सफल जीवन जी सकें।(Real Life vs Reel Life)
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